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प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कांग्रेस के घोषणापत्र में मुस्लिम लीग जैसी छाप होने की बात कहते हुए हमला किया था। इसके बाद कांग्रेस ने भी पलटवार करते हुए कहा है कि जनसंघ के संस्थापक श्यामा प्रसाद मुखर्जी जिन्ना की मुस्लिम लीग के साथ समझौता किया था। कांग्रेस ने कभी समझौता नहीं किया। उन्होंने कहा कि जिन्ना के समर्थक भाजपा के नेता हैं। लालकृष्ण आडवाणी और जसवंत सिंह ने पाकिस्तान जाकर जिन्ना की तारीफ की थी।
प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी की टिप्पणी को लेकर शनिवार को पलटवार करते हुए जयराम रमेश ने कहा कि प्रधानमंत्री अपने इतिहास से परिचित नहीं हैं, क्योंकि वह कोई और नहीं बल्कि जनसंघ के संस्थापक श्यामा प्रसाद मुखर्जी थे, जो 1940 के दशक की शुरुआत में लीग के साथ बंगाल में गठबंधन सरकार का हिस्सा थे। पार्टी महासचिव जयराम रमेश ने भाजपा पर ”विभाजन की राजनीति” करने का भी आरोप लगाया। प्रधानमंत्री मोदी ने शनिवार को सहारनपुर में एक चुनावी सभा में कहा कि कांग्रेस के घोषणापत्र में वही सोच झलकती है, जो आजादी के आंदोलन के समय मुस्लिम लीग में थी। मोदी ने यह भी कहा कि कांग्रेस के घोषणापत्र में पूरी तरह मुस्लिम लीग की छाप है और इसका जो कुछ हिस्सा बचा रह गया, उसमें वामपंथी पूरी तरह हावी हो चुके हैं। कांग्रेस इसमें दूर-दूर तक दिखाई नहीं देती है।
प्रधानमंत्री की टिप्पणी पर प्रतिक्रिया व्यक्त करते हुए जयराम रमेश ने कहा, ‘प्रधानमंत्री को अपना इतिहास नहीं पता है। वास्तव में, वह कोई और नहीं, बल्कि हिंदू महासभा के अध्यक्ष मुखर्जी थे, जो बंगाल में मुस्लिम लीग के साथ गठबंधन सरकार में शामिल थे। हिंदू महासभा सिंध और उत्तर-पश्चिम सीमांत प्रांत में भी मुस्लिम लीग के साथ गठबंधन में थी।’ रमेश ने कहा, ”कांग्रेस नहीं, बल्कि भाजपा विभाजन की राजनीति में विश्वास करती है और ऐसा करती भी है।’
कांग्रेस पर हमला करते हुए पीएम मोदी ने कहा था कि ‘आजादी की लड़ाई लड़ने वाली कांग्रेस तो दशकों पहले ही समाप्त हो चुकी है। अब जो कांग्रेस बची है, उसके पास न देशहित में नीतियां हैं और न ही राष्ट्रनिर्माण की दृष्टि। कल कांग्रेस ने जिस तरह का घोषणा पत्र जारी किया है, उससे साबित हो गया है कि आज की कांग्रेस, आज के भारत की आशाओं-आकांक्षाओं से पूरी तरह कट चुकी है।” उन्होंने कहा, ”कांग्रेस के घोषणा पत्र में वही सोच झलकती है, जो आजादी के आंदोलन के समय मुस्लिम लीग में थी।
उन्होंने कहा, उत्तर प्रदेश में सपा की स्थिति तो यह है कि यहां उन्हें हर घंटे अपने उम्मीदवार बदलने पड़ रहे हैं, जबकि कांग्रेस की स्थिति तो और भी विचित्र है, कांग्रेस को तो उम्मीदवार ही नहीं मिल रहे। उन्होंने कहा कि जिन सीटों को कांग्रेस अपना गढ़ मानती थी, वहां भी उसे उम्मीदवार उतारने की हिम्मत ही नहीं हो रही है। यह कहकर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी रायबरेली और अमेठी सीट की ओर इशारा कर रहे थे। उन्होंने कहा, ”इंडी गठबंधन अस्थिरता और अनिश्चितता का दूसरा नाम बन चुका है और इसलिए देश आज उनकी एक भी बात को गंभीरता से नहीं ले रहा है।” राहुल गांधी और अखिलेश यादव का नाम लिये बिना मोदी ने कहा कि आपको याद होगा, यहां उत्तर प्रदेश में दो लड़कों की जो फिल्म पिछली बार फ्लॉप हो चुकी है, उन दोनों लड़कों की फिल्म को इन लोगों ने फिर से रिलीज किया है। मुझे समझ नहीं आता कि काठ की इस हांडी को ये इंडी गठबंधन वाले कितनी बार चढ़ाएंगे ।
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